यूपी में कोरोना के 29824 नए मामले, लखनऊ में 3759 केस, 266 की मौत
जायज़ा डेली न्यूज़ लखनऊ(संवाददाता) कोरोना को लेकर पिछले दिनों यूपी में जबरदस्त बढ़ोत्तरी देखने को मिली थी। चार दिन पहले यूपी में एक दिन के अंदर 38 हजार से ज्यादा केस मिलने से हड़कंप मच गया था। हालांकि अगले दिन से कोरोना के मामलों में गिरावट हो रही है। बुधवार को प्रदेश में कोरोना के 29 हजार 824 नए केस सामने हैं। एक दिन पहले 32933 केस मिले थे। बुधवार को स्वास्थ्य विभाग की ओर से जारी आंकड़ों में 3109 केस कम हुए है।इस बीच लखनऊ में 3759 प्रयागराज में 1261 कानपुर नगर में 1650 वाराणसी में 1909 मेरठ में 1355 गोरखपुर में 1045 ,गौतम बुध नगर में 903 गाजियाबाद में 559 ,बरेली में 1041 झांसी में 634 मुरादाबाद में 546 आगरा में 1076 , मुजफ्फरनगर में 200 सहारनपुर में 280 लखीमपुर खीरी में 366, बलिया में 361 जौनपुर में 532 गाजीपुर में 395 बाराबंकी में 393 अयोध्या में 280 शाहजहांपुर में 381 चंदौली में 337, मथुरा में 351 रायबरेली में 331 प्रतापगढ़ में 360 बिजनौर में 321 मरीज मिले हैं। अन्य जिलों में 300 से कम मरीज पाए गए हैं। सबसे कम 40 मरीज कौशांबी में मिले हैं। जबकि उपरोक्त ज़िलों मे मौत का सिलसिला भी जारी है। लखनऊ में 13,  प्रयागराज में 21, कानपुर नगर में 13 ,वाराणसी में 14 ,मेरठ में आठ ,गोरखपुर में 11 ,गौतम बुध नगर में 12 ,गाजियाबाद में 12 ,बरेली में दो, झांसी में आठ ,मुरादाबाद में तीन ,आगरा में 10 ,जौनपुर में चार ,अलीगढ़ में तीन ,बाराबंकी में तीन ,रायबरेली में तीन, शाहजहांपुर में चार हरदोई में 15 इटावा में 8 बांदा में चार कन्नौज में 4 फतेहपुर में 4, चित्रकूट में तीन हमीरपुर में चार लोगों की मौत हुई है। अन्य जिलों में कहीं दो तो कहीं एक की मौत हुई है।

हाईकोर्ट के जज वीके श्रीवास्तव,भाजपा विधायक केसर सिंह,पूर्व डीजीपी होशियार सिंह बल्वरिया का कोरोना से निधन,
जायज़ा डेली न्यूज़ लखनऊ (संवाददाता) इलाहाबाद हाईकोर्ट के न्यायमूर्ति वीरेन्द्र कुमार श्रीवास्तव का बुधवार को कोरोना से निधन हो गया। संक्रमण होने पर कुछ दिन पहले उन्हें एसजीपीजीआई में भर्ती कराया गया था, जहां आज उन्होंने अंतिम सांस ली।उनका पार्थिव शरीर अंतिम संस्कार के लिए उनके गृह जनपद महराजगंज ले जाया जा रहा है। सेवारत न्यायमूर्ति श्रीवास्तव के निधन की सूचना मिलते ही न्यायाधीशों, अधिवक्ताओं, न्यायिक अधिकारियों व कर्मचारियों में शोक व्याप्त हो गया। सोशल मीडिया में शोक प्रकट करने व श्रद्धांजलि देने वालों का तांता लग गया।

kesar singh
कोरोना के कहर के बीच बरेली जिले के नवाबगंज से भाजपा विधायक केसर सिंह बुधवार को कोरोना से जंग हार गये। नोएडा के एक अस्पताल में उन्होंने अंतिम सांस ली। उनकी मौत की खबर से समर्थकों और भाजपा नेताओं में शोक की लहर है। भाजपा विधायक की पिछले एक माह से तबीयत खराब चल रही थी। उन्हें भोजीपुरा स्थित मेडिकल कॉलेज में भर्ती कराया गया था। बाद में उनकी तबीयत ठीक हो गई। वह घर चले गये। लेकिन दोबारा से उनकी तबीयत खराब हो गई, जिस पर उन्हें फिर मेडिकल कॉलेज ले जाया गया। कोरोना पॉजिटिव आने के बाद उन्हें प्लाज्मा की जरूरत थी। उन्होंने प्लाज्मा के लिए सोशल मीडिया पर पोस्ट कर डोनेट करने की मांग की थी। 18 अप्रैल को हालत बिगड़ने पर उनके बेटे विशाल गंगवार ने सोशल मीडिया पर टिप्पणी की थी। आरोप था कि स्वास्थ्य विभाग अपने ही विधायक का इलाज नहीं करवा पा रहा है। उनके पापा को बेहतर इलाज नहीं मिल रहा है। उन्होंने प्रदेश सरकार की स्वास्थ्य व्यवस्था पर सवाल खड़े किए थे। इसके बाद स्वास्थ्य मंत्रालय ने उन्हें बरेली से 19 अप्रैल को नोएडा के एक अस्पताल में भर्ती कराया था। जहां उनका इलाज चल रहा था। बुधवार दोपहर बाद उन्होंने अंतिम सांस ली। आपको बता दें कि एक सप्ताह के अंदर विधायक की यह तीसरी मौत है। इससे पहले विधायक रमेश चंद्र दिवाकर और लखनऊ से भाजपा विधायक सुरेश श्रीवास्तव की भी कोरोना से मौत हो चुकी है। एक सप्ताह के अंदर तीसरी मौत से यूपी की राजनीति को तगड़ा झटका लगा है।भाजपा विधायक केसर सिंह के घर में पत्नी, बेटा और दो बेटियां हैं। उनके बड़े बेटे मुनेंद्र सिंह की दो साल पहले बीमारी से मौत हो चुकी है। उनका छोटा बेटा विशाल गंगवार साथ में था।
यूपी के पूर्व डीजीपी की कोरोना के चलते काशीपुर के एक निजी अस्पताल में इलाज के दौरान मौत हो गई। वे तीन दिन पहले कोरोना पॉजिटिव पाए गए थे। यूपी के नोएडा निवासी पूर्व डीजीपी होशियार सिंह बल्वरिया (70) वर्ष 2010 में सेवानिवृत्त हुए थे। उनके पुत्र ने काशीपुर के रामनगर रोड स्थित व्हाईट हाउस में एक फ्लैट खरीदा था। करीब तीन दिन पहले वह कोरोना पॉजिटिव पाए गए थे। नोएडा में इलाज की सुविधा न मिलने के कारण वह काशीपुर आ गए थे। उन्हें मुरादाबाद रोड स्थित एक निजी अस्पताल में इलाज के लिए भर्ती कराया गया था। बुधवार को निजी अस्पताल में उनकी इलाज के दौरान मौत हो गई।

यूपी पहली मई से 18 वर्ष से अधिक आयु वालो को मुफ्त लगाया जायेगा कोरोना का टीका,कोविन पोर्टल और आरोग्य सेतु एप पर पंजीकरण शुरू,


जायज़ा डेली न्यूज़ लखनऊ(संवाददाता) कोरोना वायरस की दूसरी लहर ने यूपी सहित पूरे देश में हाहाकार मचा रखा है। संक्रमितों की संख्या लगातार बढ़ती जा रही है। हाल ये है कि सरकार और प्रशासन के हाथ-पांव फूल चुके हैं। किसी तरह हालात को संभालने का प्रयास किया जा रहा है।इसी कड़ी में प्रदेश में एक मई से 18 वर्ष की आयु से अधिक हर व्यक्ति को कोरोना का टीका लगाया जाएगा क्योंकि अब टीकाकरण ही बचाव का एक अंतिम विकल्प है। इस संबंध में प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अफसरों व मंत्रियों को कार्ययोजना बनाने के निर्देश दे दिए हैं।बुधवार को प्रदेश में कोरोना की स्थिति की समीक्षा करते हुए टीम इलेवन के साथ वर्चुअल बैठक में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अफसरों को निर्देश देते हुए कहा कि उत्तर प्रदेश देश में सर्वाधिक टीकाकरण करने वाला राज्य है। प्रदेश में टीकाकरण अभियान तेजी से चल रहा है। दोनों स्वदेशी वैक्सीन निर्माता कंपनियों से सतत संपर्क बनाए रखा जाए। 50-50 लाख डोज के ऑर्डर दे दिए गए हैं। आवश्यकतानुसार और आर्डर दिए जाएं।उन्होंने कहा कि एक मई से 18 वर्ष से अधिक आयु के लोगों का टीकाकरण कराया जाना है। यह टीकाकरण राज्य सरकार द्वारा मुफ्त कराया जाएगा। किसी भी दशा में वेस्टेज न हो, इसके लिए विशेष कार्ययोजना बनाई जाए। 45 वर्ष से अधिक आयु के लोगों के टीकाकरण में भारत सरकार से सहयोग प्राप्त हो रहा है। टीकाकरण के लिए आज से यानी 28 अप्रैल दिन बुधवार से कोविन पोर्टल और आरोग्य सेतु एप पर पंजीकरण शुरू हो गया है। यहां पर पंजीकरण कराते ही रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर पर एक कन्फर्मेशन आएगा, जिसे चेक करना होगा। कंफर्म हो जाने पर बताए गए टीकाकरण केंद्र पर अपनी फोटो आईडी और स्लिप साथ लेकर जाना होगा जिसे चेक करने के बाद टीकाकरण हो जाएगा।टीकाकरण के लिए कोविन पोर्टल पर पंजीकरण कराने हेतु दिए गए स्थान पर अपना मोबाइल नंबर डालें। इस पर एक ओटीपी भेजा जाएगा जिसे वैरीफाइ करने पर लॉग इन हो जाएगा। इसके बाद अपनी पूरी डिटेल भरें। जिसे भरकर सबमिट करने के बाद एक कंफर्मेशन नंबर आएगा। उस कंफर्मेशन नंबर और पहचान पत्र के साथ निर्धारित तारीख और समय पर टीकाकरण केंद्र पर पहुंचें और टीका करवाएं।

यूपी सरकार गरीबों को मई व जून में निशुल्क देगी खाद्यान्न
जायज़ा डेली लखनऊ (संवाददाता) यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि कोविड की इस विभीषिका के बीच राज्य सरकार प्रत्येक नागरिक के भरण-पोषण की समुचित व्यवस्था के लिए संकल्पित है। राज्य सरकार पीडीएस के अंतर्गत पात्र गृहस्थी और अंत्योदय कार्ड धारक को मई और जून माह में निःशुल्क राशन प्रदान करेगी। इसमें ई-पॉश मशीनों से नेशनल राशन पोर्टिबिलिटी की सुविधा के साथ अधिकाधिक लोगों को लाभान्वित किया जाएगा। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार द्वारा दिया जा रहा यह राशन भारत सरकार द्वारा एनएफएसए अंतर्गत मई-जून माह के लिए घोषित निःशुल्क राशन के अतिरिक्त होगा। उन्होंने इस संबंध में संबंधित विभाग व अफसरों को कार्ययोजना तैयार करने के निर्देश दिए। मुख्यमंत्री योगी बुधवार को टीम इलेवन के साथ वर्चुअल बैठक को संबोधित कर रहे थे

प्रियंका गांधी ने भेजा ऑक्सीजन टैंकर
जायज़ा डेली लखनऊ (संवाददाता) लखनऊ और प्रदेश में ऑक्सीजन के मिलने में हो रही मुश्किल को देखते हुए कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने ऑक्सीजन टैंकर भेजा था जो कि बुधवार को लखनऊ के मेदांता अस्पताल पहुंच गया। यह टैंकर छत्तीसगढ़ सरकार की तरफ से भेजा गया था जो कि बुधवार को पहुंचा। बता दें कि प्रदेश में कोरोना मरीजों की बढ़ती संख्या के कारण कई जिलों के अस्पतालों में ऑक्सीजन न मिलने की खबरें आ रही हैं। हालांकि, प्रदेश सरकार की तरफ से दावा किया गया है कि प्रदेश में कहीं भी ऑक्सीजन और दवा की किल्लत नहीं है। इसके पहले मंगलवार को प्रियंका गांधी ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को पत्र लिखकर कोरोना संक्रमण से प्रभावित जनता को तत्काल राहत दिलाने का अनुरोध किया था। उन्होंने लिखा था कि कोरोना महामारी की दूसरी लहर शहरों की सीमाओं को लांघकर अब गांवों में अपना पैर पसार रही है। चिंता की बात ये है कि प्रदेश में कोरोना जांच अपर्याप्त है।प्रियंका ने पत्र में कहा था कि ग्रामीण इलाकों में तो जांच तक नहीं हो रही है। वहीं, शहरी इलाकों के लोगों को जांच कराने में काफी मुश्किलें आ रही हैं। कई दिन तक रिपोर्ट नहीं आती। उन्होंने कहा कि अस्पतालों में बेड, ऑक्सीजन, दवाइयों की घोर किल्लत और इनकी बड़े पैमाने पर कालाबाजारी भी बड़ी चिंता है। आयुष्मान योजना को कोई अस्पताल नहीं मान रहा। लोग ऑक्सीजन, रेमडेसिविर और अन्य जीवन रक्षक दवाओं की तीन-चार गुनी कीमत चुकाने को मजबूर हैं। चिंता श्मशान घाटों पर हो रही लूट-खसोट और कुल मौतों के आंकड़ों को कम बताने को लेकर भी है। अंतिम संस्कार के लिए लकड़ी नहीं मिल रही। प्रियंका ने सभी स्वास्थ्यकर्मियों और फ्रंटलाइन वर्कर्स के कल्याण के लिए एक समर्पित आर्थिक पैकेज की घोषणा करने, युद्ध स्तर पर ऑक्सीजन-युक्त बेड की उपलब्धता बढ़ाने, कोरोना संक्रमण एवं मौत के आंकड़ों को न छुपाने, आरटीपीसीआर जांच की संख्या बढ़ाने, आंगनबाड़ी और आशा कर्मियों की मदद से ग्रामीण इलाकों में दवाओं व उपकरणों की कोरोना किट बंटवाने की व्यवस्था करने की मांग की थी।

 

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